Free Ration In Rajasthan : राजस्थान में इस दिवाली से लगभग 50 लाख लोगों को केंद्र सरकार की तरफ से मिलने वाले गेहूं का लाभ नहीं मिल पाएगा। दरअसल केंद्र सरकार ने अचानक खाद्य सुरक्षा के गेहूं के कोटे में 20% की कटौती कर दी। इस वजह से अक्टूबर के महीने में 50 लाख से अधिक लोगों को फ्री में गेंहू राशन नहीं मिलेगा। गेहूं की कटौती होने के वजह से अधिकारियों की नींद उड़ चुकी है। अब केंद्र सरकार को पत्र लिखकर गेहूं का कोटा बढ़ाने की मांग की जा रही है।
राज्य सरकार की तरफ से खाद्य सुरक्षा विभाग के अधिकारियों को हर 3 महीने में केंद्र सरकार की तरफ से गेहूं आवंटित के लिए उपयोगिता प्रमाण पत्र देना पड़ता है उसके बाद ही केंद्र सरकार यह राज्य के लोगों के लिए रिलीज करती है लेकिन एक बार अफसरों की सुस्ती की वजह से यह प्रमाण पत्र केंद्र सरकार को नहीं दिया गया। इस वजह से अगस्त माह में आवंटित गेहूं के कोटे को आधार मानकर 20% की कटौती कर दी है ऐसे में प्रदेश के 50 लाख परिवार दिवाली पर राशन नहीं ले पाएंगे। उन्हें केंद्र सरकार ने 2 साल पहले कोरोना में जरूरतमंद लोगों को राहत देने के लिए प्रधानमंत्री गरीब कल्याण योजना की शुरुआत की थी।
Free Ration In Rajasthan : 41 हजार मीट्रिक टन की कटौती
राजस्थान में केंद्र सरकार की तरफ से प्रधानमंत्री गरीब कल्याण योजना के अंतर्गत 41 हजार मैट्रिक टन गेहूं की कटौती हो चुकी है। अगस्त माह में दो लाख मैट्रिक टन से अधिक गेहूं आवंटित किए गए थे। जबकि सितंबर में 1.62 लाख मैट्रिक टन गेहूं आवंटित किए गए। इस योजना के अंतर्गत गेहूं खाद्य सुरक्षा के पात्र लोगों को 5 किलो निशुल्क दिए जा रहे हैं। वहीं राज्य सरकार की तरफ से जारी योजनाओं में से 5 किलो इनको अलग से गेहूं मिलता है। ऐसे में टैक्स उपभोक्ताओं को हर महीने 10 किलो गेहूं प्रदान किया जाता है। केंद्र सरकार की तरफ से गेहूं में कटौती किए जाने पर गेहूं की उपलब्धता कम हो चुकी है। विभाग के सामने भी बहुत बड़ा संकट आ गया है कि किस से कितना दे क्योंकि सरकार का मापदंड केवल 5 किलो देने का है।
राज्य के सभी राशन डीलर एसोसिएशन ने जिला रसद अधिकारियों को पत्र लिखकर कहां है कि गेहूं का आवंटन कम होने की वजह से उनके सामने एक बहुत बड़ा संकट आ गया है, वह किस उपभोक्ता को गेहूं बाटेंगे और किसको गेहूं नहीं बाटेंगे। ऐसे में व्यवस्थाएं बिगड़ सकती है। इसके बाद जिला रसद अधिकारियों ने भी राज्य सरकार को पत्र लिखकर गेहूं का कोटा यथावत जारी करने की मांग की है। डीएसओ शिवलाल ने बताया कि प्रदेश भर में अगस्त माह में गेहूं के कोटे में करीब 20% की कटौती की थी। कोटा बढ़ाने के संबंध में पूर्व में भी राज्य को पत्र लिख दिया गया। अधिकारियों का मानना है कि केंद्र सरकार राज्य सरकार की तरफ से भेजे गए पत्र के अनुपालन करेगी और गेहूं के कोटे में बढ़ोतरी की जाएगी।